LALU YADAV : लैंड फॉर जॉब स्कैम के मामले में राजद (RJD) और लालू परिवार की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। केंद्रीय जांच एजेंसियों की कड़ी कार्रवाई और अब कोर्ट द्वारा लालू यादव और उनके परिवार के खिलाफ सख्त कदम उठाए जाने के बाद यह सवाल उठने लगा है कि क्या आगामी चुनावों में RJD को इसका भारी नुकसान उठाना पड़ेगा? सीबीआई और ईडी द्वारा की जा रही जांच के बाद अब कोर्ट ने भी मामले में सुनवाई तेज कर दी है। इसमें आरोप है कि लालू यादव के परिवार ने रेलवे में नौकरी देने के बदले जमीन की मांग की थी। इस मामले में लालू यादव, उनकी पत्नी राबड़ी देवी और उनके दोनों पुत्र तेजस्वी यादव और तेजप्रताप यादव पर गंभीर आरोप हैं। राजद के सूत्रों के मुताबिक, पार्टी और परिवार के लिए यह समय चुनौतीपूर्ण है, क्योंकि कोर्ट की कार्रवाई और जांच के दौरान पार्टी की छवि पर असर पड़ सकता है। वहीं, विपक्षी दलों ने इस मुद्दे को लपकते हुए आगामी चुनावों में इसका इस्तेमाल करने की तैयारी शुरू कर दी है। भाजपा और अन्य विपक्षी दलों ने इसे भ्रष्टाचार और परिवारवाद के खिलाफ मुद्दा बनाते हुए RJD पर हमला बोला है।
राजद नेता इस मामले को राजनीतिक साजिश करार दे रहे हैं और आरोप लगा रहे हैं कि केंद्र सरकार उनके खिलाफ एजेंसियों का दुरुपयोग कर रही है। लेकिन कानूनी दांव-पेंच के बीच पार्टी और लालू परिवार को यह साफ करना होगा कि उनका चुनावी अभियान इस मुद्दे से प्रभावित नहीं होगा। चुनावी विशेषज्ञों का मानना है कि अगर यह मामला जल्द सुलझता है तो RJD के लिए स्थिति संभालना आसान हो सकता है, लेकिन अगर यह मामला लंबा खींचता है तो पार्टी को भारी राजनीतिक नुकसान उठाना पड़ सकता है। खासकर, लालू परिवार के खिलाफ आरोपों की वजह से युवाओं और नौकरीपेशा वर्ग में नाराजगी बढ़ सकती है।